नौ दो ग्यारह होना मुहावरे का अर्थ | नौ दो ग्यारह होना मुहावरे का वाक्य में प्रयोग 9 2 11 nau do gyarah

9 2 11 nau do gyarah in hindi नौ दो ग्यारह होना मुहावरे का अर्थ क्या है | नौ दो ग्यारह होना मुहावरे का वाक्य में प्रयोग बताइये |

136. दो-दो हाथ करना = लड़ना।
प्रयोग-कश्मीर समस्या का समाधान तब तक नहीं होगा जब तक भारत पाकिस्तान से दो-दो हाथ नहीं करेगा।
137. धाक जमाना = रौब होना।
प्रयोग- नये अध्यापक ने अपनी विद्वता से दो दिन में ही कक्षा में अपनी धाक जमा ली।
138. धूल में लट्ठ मारना = अनुमान लगाना।
प्रयोग-कत्ल के बारे में तुम कुछ जानते भी हो या यों ही उल्टी-सीधी बातें करके धूल में लट्ठ मार रहे हो।
139. नाक में दम होना = परेशान हो जाना।
प्रयोग-यह लड़का इतना शैतान है कि इसने दो दिनों में ही मेरी नाक में दम कर दिया है।
140. नानी याद आना = परेशानी में फँस जाना।

प्रयोग इस बच्ची को शॉपिंग कराने में तो मुझे नानी याद आ गयी । दसियों दुकानें देखीं, पर इसे कोई ड्रेस पसन्द ही नहीं आई।
141. नाक का बाल होना = अत्यधिक प्रिय होना।
प्रयोग-एक जमाना था, जब अमर सिंह उत्तर प्रदेश के समाजवादी पार्टी के मुखिया माननीय मुलायम सिंह की नाक के बाल थे।
142. नमक हराम होना = कृतघ्न होना।
प्रयोग-मेरा नौकर इतना नमक हराम होगा, इसका मुझे अनुमान तक न था।
143. नौ दो ग्यारह होना = भाग जाना।
प्रयोग-पुलिस को देखते ही चोर नौ दो ग्यारह हो गये।
144. नाक रगड़ना = विनती करना।
प्रयोग- नकलची विद्यार्थी के नाक रगड़ने पर भी अध्यापक ने उसे नहीं छोड़ा और नकल की रिपोर्ट भेज दी।
145. पौ बारह होना = लाभ ही लाभ होना।
प्रयोग- युद्ध-काल में व्यापारियों की पौ बारह हो जाती है, क्योंकि वे मुँह माँगी कीमत वसूलते हैं।
146. पेट में चूहे कूदना = बहुत भूखा होना।
प्रयोग-लाओ माँ जो कुछ हो खाने को दे दो, पेट में चूहे कूद रहे हैं।
147. पहाड़ टूट पड़ना = भारी विपत्ति आना।
प्रयोग-अभी उसकी कच्ची गृहस्थी है और पति चल बसा । उस बेचारी पर तो पहाड़ ही टूट पड़ा है।
148. पैर उखड़ना = हार कर भागना।
प्रयोग-सेनापति के मरते ही सैनिकों के पैर उखड़ गये।
149. पाँचों अंगुली बराबर न होना = सब एक समान न होना।
प्रयोग-आगरे की लड़कियाँ चालाक होती हैं, ऐसा कहकर आप अन्याय कर रहे हैं, क्योंकि पाँचों अंगुली बराबर नहीं होती।
150. पीठ में छुरा भौंकना = विश्वासघात करना।
प्रयोग- तुम्हारा विश्वास पार्टी कैसे करे तुमने तो पिछले चुनाव में पार्टी की पीछ में छुरा भौंककर विपक्ष से टिकट ले ली थी।
151. फूल सूंघकर रहना = बहुत कम खाना।
प्रयोग- कहीं मोटी न हो जाऊँ इस चक्कर में लड़कियाँ तो फूल सूंघकर रहती हैं।
152. फूला न समाना = अत्यंत प्रसन्न होना।
प्रयोग-बेटे की नौकरी लग जाने पर अब तो मोहन फूला न समा रहा था।
153. फूलकर कुप्पा होना = अत्यधिक प्रसन्न होना।
प्रयोग-भाई की नौकरी लग गई। यह सुनकर शालिनी तो जैसे फूलकर कुप्पा हो गई।
154. बहती गंगा में हाथ धोना = अवसर का लाभ उठाना।
प्रयोग- परीक्षा में जब सब नकल कर रहे थे तो मैंने भी बहती गंगा में हाथ धो लिये।
155. बाल बाँका न होना = कोई नुकसान न होना ।
प्रयोग- दुर्घटना तो जरूर हुई, पर मेरा तो बाल भी बाँका न हुआ।
156. बाल की खाल निकालना = बहुत छानबीन करना।
प्रयोग-वकील लोग बाल की खाल निकालकर मुकदमा जीत लेते हैं।
157. बगलें झाँकना = निरुत्तर होना।
प्रयोग-शोर मचाते बच्चों को डाँटते हुए प्रधानाचार्य ने कहा, यह क्या हो रहा है? कौन शोर मचा रहा था? तो सभी विद्यार्थी बगलें झाँकने लगे।
158. भीगी बिल्ली बन जाना = डर जाना।
प्रयोग-पिताजी के सामने तो तुम भीगी बिल्ली बन जाते हो, अब दहाड़ रहो हो।
159. भाड़े का टटू होना = किराये का आदमी।
प्रयोग-एस.पी. साहब ने लाश का मुआयना करके कहा, हत्या भाड़े के टटुओं से करवाई गई है, क्योंकि हत्यारे पेशेवर प्रतीत होते हैं।
160. मुँह की खाना = पराजित होना ।
प्रयोग-2014 के लोकसभा चुनाव में काँग्रेस को पूरे देश में मुँह की खानी पड़ी।
161. मुँह में पानी आना = ललचाना ।
प्रयोग-बरात में रसगुल्लों से भरा डोंगा देखकर उसके मुँह में पानी आ गया।
162. म्यान से बाहर होना = अत्यधिक क्रोध करना ।
प्रयोग-शिव धनुष को टूटा हुआ देखकर परशुराम म्यान से बाहर हो गये।
163. मैदान मारना = जीत लेना।
प्रयोग-2011 का एक दिवसीय क्रिकेट विश्व कप जीतकर भारतीय क्रिकेट टीम ने मैदान मार लिया।
164. मिली भगत होना = दुरभिसन्धि होना।
प्रयोग-मैं जानता हूँ कि मुझे नौकरी से निकलवाने में तुम दोनों की मिली भगत है।
165. मुँह पर कालिख लगाना = कलंक लगाना।
प्रयोग-रिश्वत लेते हुए रंगेहाथ पकड़े जाने पर अधिकारी के मुँह पर कालिख लग गई।
166. रंग में भंग पड़ना = आनन्द में बाधा पड़ना।
प्रयोग-दूल्हे के भाई की दुर्घटना में अचानक मृत्यु होने से विवाह वाले घर में रंग में भंग पड़ गया।
167. रंगा सियार होना = कपटी मनुष्य
प्रयोग-आजकल गेरुए वस्त्र पहनकर तमाम लोग साधु-संन्यासी बने फिरते हैं, जबकि इनमें से अधिकांश रंगे सियार होते हैं।
168. रंगे हाथ पकड़ना = मौके पर पकड़ा जाना ।
प्रयोग-उस रिश्वती क्लर्क को अधिकारी ने रंगे हाथ पकड़ लिया।
169. रोज कुआँ खोदना रोज पानी पीना = प्रतिदिन कमाकर जीवन-यापन करना।
प्रयोग-बड़े शहरों में रहने वाले तमाम गरीब रोज कुआँ खोदकर रोज पानी पीते हैं, उनके पास जमा पूंजी नहीं होती है।
170. रौंगटे खड़े होना = भयभीत होना।
प्रयोग-भूत-प्रेत की कहानियाँ सुनकर उसके तो रोंगटे खड़े हो गए।
171. राई से पर्वत करना = छोटे से बड़ा करना।
प्रयोग-बच्चों के झगड़े को तूल देकर आपने राई में पर्वत करने का काम किया है, यह समझदारी नहीं कही जा सकती।
172. लोहा लेना = साहसपूर्वक सामना करना।
प्रयोग-शिवाजी ने जीवनपर्यन्त मुगलों से लोहा लिया।
173. लहू का चूँट पीना = क्रोध को दबाना ।
प्रयोग- तुम्हारी कड़वी बातों को सुनकर मैं लहू का चूंट पीकर रह गया,। अन्यथा झगड़ा हो जाता।
174. लीपा-पोती करना = छिपाने का प्रयास करना ।
प्रयोग-अध्यापक ने पूछा सच-सच बताओ क्या हुआ था, इस तरह लीपा पोती करने से काम न चलेगा।
175. लुटिया डुबो देना = सर्वनाश कर देना।
प्रयोग-मेरे साझीदार ने अपनी मूर्खता से मेरे व्यापार की तो लुटिया ही डुबो दी।