हिंदी माध्यम नोट्स
पादप वृद्धि , पादप वृद्धि स्थल , शीर्ष विभज्योतकीय उत्तक , अन्तर्वेशी , पाशर्व विभज्योतकीय उत्तक
(plant growth in hindi) पादप वृद्धि :
प्रश्न 1 : वृद्धि किसे कहते है ?
उत्तर : सजीवो के आकार तथा आयतन में होने वाली स्थायी तथा अपरिवर्तनशील परिवर्तन , वृद्धि कहलाती है तथा वृद्धि के फलस्वरूप सजीव के शुष्क भार में बढ़ोतरी होती है।
नोट : सामान्यत: पादपो में पाए जाने वाली वृद्धि निरन्तर जीवन पर्यन्त संपन्न होती है , तथा कभी कभी यह वृद्धि परिवर्तनशील होती है वही सामान्यतया जन्तुओ में वृद्धि स्थायी अपरिवर्तनशील व एक निश्चित समयावधि तक संपन्न होती है।
पादपो में कभी कभी शुष्क बीज अथवा अन्य शुष्क संरचना आद्रता ग्रहण करके अपने आकार में वृद्धि करती है परन्तु सूखने पर बढ़ा हुआ आकार घट जाता है तथा शुष्क भार अपरिवर्तित रहता है अत: ऐसी स्थितियों में पादपो में परिवर्तनशील वृद्धि पायी जाती है।
पादप वृद्धि स्थल
सामान्यत: एक पादप में निम्न वृद्धि स्थल पाए जाते है वृद्धि हेतु एक पादप में मुख्य रूप से विभज्योतकीय उत्तक पाए जाते है। ]
1. शीर्ष विभज्योतकीय उत्तक : एक पादप के तने के तथा मूल के शीर्ष भाग में पाया जाने वाला उत्तक ही शीर्ष विभज्योतकीय उत्तक कहलाता है।
यह उत्तक मुख्य रूप से पादप की लम्बाई में वृद्धि हेतु उत्तरदायी होता है , इसके अतिरिक्त पादप के इस भाग के द्वारा एक सिमित मात्रा में मोटाई में वृद्धि की जाती है।
शीर्ष विभज्योतकीय उत्तक के द्वारा दर्शायी जाने वाली वृद्धि प्राथमिक वृद्धि के नाम से जानी जाती है।
2. अन्तर्वेशी उत्तक : इस प्रकार का विभज्योतकीय उत्तक मुख्य रूप से पर्व संधि के ऊपर पाया जाता है तथा इस उत्तक के फलस्वरूप पर्व की लम्बाई में वृद्धि होती है जिसके द्वारा मुख्य रूप से तने की लम्बाई में वृद्धि की जाती है। इसके अतिरिक्त पर्णफलक तथा पर्णवृन्त की चौड़ाई में वृद्धि हेतु उपरोक्त उत्तक उत्तरदायी होता है।
उदाहरण : घास , गन्ना तथा बाँस में इस प्रकार का उत्तक प्रमुख रूप से पाया जाता है।
3. पाशर्व विभज्योतकीय उत्तक : इस प्रकार का उत्तक मुख्य रूप से पादप की पाश्र्व भागो में पाया जाता है जिसके फलस्वरूप पादप के तने तथा मूल की मोटाई में वृद्धि होती है तथा इस प्रकार की वृद्धि द्वितीयक वृद्धि के नाम से जानी जाती है।
नोट : शीर्ष विभज्योतकीय उत्तक तथा अन्तर्मेशी उत्तक सामान्यत: प्राथमिक वृद्धि को दर्शाते है। वही पाशर्व उत्तक के द्वारा द्वितीयक वृद्धि दर्शायी जाती है।
पादप वृद्धि को प्रभावित करने वाले कारक
पादपो में पादप वृद्धि को प्रभावित करने वाले अनेक कारक पाए जाते है जिनमे से कुछ प्रमुख कारक निम्न प्रकार से है –
1. वातावरणीय कारक : पादपो में वृद्धि को प्रभावित करने वाले इस कारक के अन्तर्गत मौसमी कारक तथा मृदा से सम्बन्धित कारक सम्मिलित किये जाते है।
पादप वृद्धि को प्रभावित करने वाले ऐसे कुछ प्रमुख कारक निम्न है –
(i) प्रकाश : प्रकाश एक महत्वपूर्ण वातावरणीय कारक है जो पादप वृद्धि को कई प्रकार से प्रभावित करता है तथा यह प्रकार निम्न है –
(a) प्रकाश की तीव्रता : यदि पादपो पर प्रकाश की अधिक तीव्रता पडती है तो इसके फलस्वरूप पादपों में वृद्धि मंद हो जाती है क्योंकि प्रकाश की अधिक तीव्रता पर पर्व की लम्बाई अवरुद्ध हो जाती है तथा पत्तियों का आकार संदमित हो जाता है। इसके फलस्वरूप पादप बौने तथा छोटी पत्ती वाले उत्पन्न होते है।
(b) प्रकाश की गुणवत्ता : सामान्यत: पादपो के द्वारा एक निश्चित तरंगदैधर्यता वाले प्रकाश का अवशोषण किया किया जाता है अर्थात लाल रंग के प्रकाश की उपस्थिति में पादप सर्वाधिक वृद्धि दर्शाते है परन्तु पैराबैंगनी किरणों की उपस्थिति में तथा अवरक्त किरणों की उपस्थिति में पादप वृद्धि का संदमन होता है।
(c) प्रकाश की अवधि : पादपों में विभिन्न कायिक तथा प्रजनन की क्रियाओ हेतु प्रकाश की एक निश्चित अवधि की आवश्यकता होती है अत: यह आवश्यकता दीप्तकालिता या Photoperiodism के नाम से जानी जाती है।
नोट : मुख्य रूप से पादप के पुष्पन की क्रिया हेतु दीप्तकालिता की आवश्यकता होती है तथा पादप की एक निश्चित प्रकाश अवधि की अनुपस्थिति में पुष्पन की क्रिया अवरुद्ध हो जाती है।
दिप्तकालिता के आधार पर पादप मुख्य रूप से तीन प्रकार के होते है –
- LDP (long day plants) : इन्हें प्रकाश की अधिक अवधि :- पुष्पन हेतु।
- SDP (short day plants) : इन्हें प्रकाश की कम अवधि :- पुष्पन हेतु।
- DNP (day nutral plants) : पुष्पन हेतु ऐसे पादप प्रकाश की अवधि से अप्रभावित होती है।
Recent Posts
सती रासो किसकी रचना है , sati raso ke rachnakar kaun hai in hindi , सती रासो के लेखक कौन है
सती रासो के लेखक कौन है सती रासो किसकी रचना है , sati raso ke…
मारवाड़ रा परगना री विगत किसकी रचना है , marwar ra pargana ri vigat ke lekhak kaun the
marwar ra pargana ri vigat ke lekhak kaun the मारवाड़ रा परगना री विगत किसकी…
राजस्थान के इतिहास के पुरातात्विक स्रोतों की विवेचना कीजिए sources of rajasthan history in hindi
sources of rajasthan history in hindi राजस्थान के इतिहास के पुरातात्विक स्रोतों की विवेचना कीजिए…
गुर्जरात्रा प्रदेश राजस्थान कौनसा है , किसे कहते है ? gurjaratra pradesh in rajasthan in hindi
gurjaratra pradesh in rajasthan in hindi गुर्जरात्रा प्रदेश राजस्थान कौनसा है , किसे कहते है…
Weston Standard Cell in hindi वेस्टन मानक सेल क्या है इससे सेल विभव (वि.वा.बल) का मापन
वेस्टन मानक सेल क्या है इससे सेल विभव (वि.वा.बल) का मापन Weston Standard Cell in…
polity notes pdf in hindi for upsc prelims and mains exam , SSC , RAS political science hindi medium handwritten
get all types and chapters polity notes pdf in hindi for upsc , SSC ,…