हिंदी माध्यम नोट्स
तुल्यांकी चालकता (λv) , आयनिक विलयनो की चालकता (K) का मापन , सेल स्थिरांक (X) का मात्रक
कुछ विशिष्ट परिभाषाएँ एवं मात्रक :-
(1) प्रतिरोध (R) : विद्युत धारा के प्रवाह में उत्पन्न बाधा को प्रतिरोध कहते है।
R का मात्रक : ओम या Ω है।
(2) चालकत्व (C) : प्रतिरोध के व्युत्क्रम को चालकत्व कहते है।
C = 1/R
चालकत्व (C) का मात्रक : Ω-1 या ohm-1 या mho या S (सीमेन्स)
(3) विशिष्ट प्रतिरोध / प्रतिरोधकता (p) : प्रतिरोध (R) लम्बाई (l) के समानुपाती एवं अनुपृष्ठ काट के क्षेत्रफल (A) के व्युत्क्रमानुपाती होता है , अत:
R ∝ l/A
∝ का चिन्ह हटाने पर –
R = p.l/A
p = विशिष्ट प्रतिरोध
p = R.A/l
यदि l = 1 सेंटीमीटर व A = 1 cm2 हो तो p = R
1 सेंटीमीटर दूरी पर स्थित 1 cm2 अनुपृष्ठ काट वाले दो समान्तर इलेक्ट्रोडो के मध्य रखे हुए चालक पदार्थ के विलयन के प्रतिरोध को ही विशिष्ट प्रतिरोध कहते है।
या
चालक पदार्थ के एक धन सेमी विलयन के प्रतिरोध को ही विशिष्ट प्रतिरोध कहते है।
p का मात्रक = p = R.A/l
p का मात्रक = ओम x सेमी
SI मात्रक = ओम x मीटर
- विशिष्ट चालकत्व / चालकत्व (K): विशिष्ट प्रतिरोध या प्रतिरोधकता के व्युत्क्रम को विशिष्ट चालकत्व या चालकत्व कहते है।
K = 1/p
p = R.A/l रखने पर
K = l/R.A
1/R = C (चालकत्व)
K = C.l/A
एक सेंटीमीटर दूरी पर स्थित एक वर्ग सेंटीमीटर अनुपृष्ठ काट वाले दो समान्तर इलेक्ट्रोडो के मध्य रखे हुए चालक पदार्थ के विलयन के चालकत्व को ही विशिष्ट चालकत्व कहते है।
या
चालक पदार्थ के एक घन सेंटीमीटर विलयन के चालकत्व को विशिष्ट चालकत्व कहते है।
या
चालक पदार्थ के 1 मिली लीटर विलयन के चालकत्व को विशिष्ट चालकत्व कहते है।
विशिष्ट चालकत्व (K) का मात्रक = △
K = C.l/A
K = ओम-1 सेमी-1
K का मात्रक = Ω-1 cm-1
SI का मात्रक = Ω-1 m-1 या S m-1
- मोलर चालकत्व (Λm): 1 सेंटीमीटर दूरी पर स्थित दो समांतर इलेक्ट्रोडो के मध्य रखे एक मोल विद्युत , अपघट्य रखने वाले विलयन में उपस्थित सभी आयनों द्वारा उत्पन्न चालकत्व मोलर चालकता कहलाती है।
λm = K x V [समीकरण-1]
V = एक मोल विद्युत अपघट्य रखने वाले विलयन का आयतन
यदि विलयन की सान्द्रता C मोल/लीटर हो –
V = 1000/C = 1000/M
समीकरण-1 में V=1000/m रखने पर –
λm = K x 1000/M
λm का मात्रक :-
λm = Ω-1mol-1cm2
SI मात्रक : S mol-1 m2
- तुल्यांकी चालकता (λv) (Equivalent conductivity): एक सेमी. दूरी पर स्थित दो समांतर इलेक्ट्रोडो के मध्य रखे एक ग्राम तुल्यांक विद्युत अपघट्य रखने वाले विलयन में उपस्थित सभी आयनों द्वारा उत्पन्न चालकत्व , तुल्यांकी चालकता कहलाती है।
λv = K x V [समीकरण-1]
V = एक ग्राम तुल्यांक विद्युत अपघट्य रखने वाले विलयन का आयतन यदि विलयन की सान्द्रता C ग्राम तुल्यांक/लीटर हो –
V = 1000/C = 1000/N
समीकरण-1 में V = 1000/N रखने पर –
λv = K x 1000/N
λv का मात्रक : ओम-1 ग्राम तुल्यांक-1cm2
SI मात्रक = S ग्राम तुल्यांक-1मी.2
आयनिक विलयनो की चालकता (K) का मापन
विद्युत अपघट्य विलयन या आयनिक विलयन के प्रतिरोध का मापन व्हिटस्टोन ब्रिज विधि से करते है तथा इस प्रतिरोध के मान से उस विलयन के चालकत्व एवं चालकता का मान ज्ञात कर लेते है।
इस विधि में एक पात्र में विद्युत अपघट्य पदार्थ का विलयन लेकर इसमें प्लेटिनम प्लेट से लेपित प्लेटिनम के दो इलेक्ट्रोड लगा देते है। इन इलेक्ट्रोडो के मध्य दूरी l व अनुपृष्ठ काट का क्षेत्रफल A है तथा l/A का मान सेल स्थिरांक X है।
इस प्रकार बना सेल चालकता मापी सेल कहलाता है।
हम इस चालकता मापी सेल को थर्मोस्टेट में रखकर इसे व्हिट स्टोन ब्रिज उपकरण की एक भुजा से जोड़ देते है। इस उपकरण में शून्य विक्षेप की स्थिति देखने के लिए संसूचक लगा होता है। अब इसे प्रत्यावर्ती धारा स्रोत से जोड़कर प्रत्यावर्ती धारा प्रवाहित करते है इसकी आवृति 550 से 5000 चक्र/सेकंड होती है। इसमें दिष्ट धारा का उपयोग नहीं करते क्योंकि इससे विलयन अपघटित हो जाता है अत: इसमें प्रत्यावर्ती धारा प्रवाहित कर R1 , R3 , R4 प्रतिरोध को व्यवस्थित करके शून्य विक्षेप की स्थिति प्राप्त करते है। इस स्थिति में ब्रिज संतुलित होता है अत: संतुलन की अवस्था में निम्न सूत्र से विलयन का अज्ञात प्रतिरोध ज्ञात कर लेते है।
R1/R2 = R3/R4 से –
चूँकि R2 अज्ञात प्रतिरोध
R2 = R1R4/R3 [समीकरण-1]
समीकरण-1 से विलयन का प्रतिरोध (R2) ज्ञात कर लेते है।
समीकरण-1 से चालकता (C) व चालकता (K) निम्न प्रकार ज्ञात करते है।
चालकत्व (C) = 1/R [समीकरण 2]
चालकता (K) = C.l/A
चूँकि l/A = X (सेल स्थिरांक)
K = CX [समीकरण 3]
चूँकि C = 1/R
K = X/R [समीकरण 4]
समीकरण-2 से विलयन का चालकत्व एवं समीकरण 3 और समीकरण-4 से चालकता कर लेते है।
सेल स्थिरांक (X)
सेल स्थिरांक वह गुणांक है जिससे विलयन के चालकत्व (C) से गुणा करने पर चालकता (K) प्राप्त होती है।
K = C.X से –
X = K/C [समीकरण 1]
1/C = R रखने पर –
X = K.R [समीकरण 2]
समीकरण-1 व समीकरण-2 से सेल स्थिरांक ज्ञात कर सकते है।
सेल स्थिरांक (X) का मात्रक :-
X = K.R से –
X = cm-1
सेल स्थिरांक (X) को l/A से भी ज्ञात कर सकते है लेकिन इसके द्वारा प्राप्त मान विश्वसनीय नहीं होते है सेल स्थिरांक को ज्ञात करने के लिए किसी ज्ञात विशिष्ट चालकत्व चाले विलयन का चालकत्व व्हिट ब्रिज विधि से ज्ञात करते है। इस प्रकार प्राप्त कप्पा (k) व c के मान से सेल स्थिरांक (x) ज्ञात करते है।
प्रश्न 1 : 298 k ताप पर 0.001 m KCl विलयन का विशिष्ट चालकत्व (k) 0.146 x 10-3 S cm-1 है। यदि सेल का प्रतिरोध 1500 ओम है तो सेल स्थिरांक का निर्धारण कीजिये।
उत्तर : K = 0.146 x 10-3 S cm-1
R = 1500 ओम
X = ?
X = K/C से –
1/C = R
X = K.R
X = 0.219 cm-1
प्रश्न 2 : 298 k ताप पर 0.20 M KCl विलयन का विशिष्ट चालकत्व (K) = 0.02485 cm-1 है , इसकी मोलर चालकता (λm) की गणना करो ?
उत्तर : K = 0.02485 Scm-1
मोलरता = 0.20 M
λm = ?
λm = K x 1000/M
λm = 124 Scm2 mol-1
Recent Posts
सती रासो किसकी रचना है , sati raso ke rachnakar kaun hai in hindi , सती रासो के लेखक कौन है
सती रासो के लेखक कौन है सती रासो किसकी रचना है , sati raso ke…
मारवाड़ रा परगना री विगत किसकी रचना है , marwar ra pargana ri vigat ke lekhak kaun the
marwar ra pargana ri vigat ke lekhak kaun the मारवाड़ रा परगना री विगत किसकी…
राजस्थान के इतिहास के पुरातात्विक स्रोतों की विवेचना कीजिए sources of rajasthan history in hindi
sources of rajasthan history in hindi राजस्थान के इतिहास के पुरातात्विक स्रोतों की विवेचना कीजिए…
गुर्जरात्रा प्रदेश राजस्थान कौनसा है , किसे कहते है ? gurjaratra pradesh in rajasthan in hindi
gurjaratra pradesh in rajasthan in hindi गुर्जरात्रा प्रदेश राजस्थान कौनसा है , किसे कहते है…
Weston Standard Cell in hindi वेस्टन मानक सेल क्या है इससे सेल विभव (वि.वा.बल) का मापन
वेस्टन मानक सेल क्या है इससे सेल विभव (वि.वा.बल) का मापन Weston Standard Cell in…
polity notes pdf in hindi for upsc prelims and mains exam , SSC , RAS political science hindi medium handwritten
get all types and chapters polity notes pdf in hindi for upsc , SSC ,…